प्रदेश में छात्र संघ चुनाव को लेकर छात्र इंतज़ार में बैठे हैं। वहीं अब नैनीताल हाईकोर्ट ने भी इस विषय पर सख्ती दिखाई हैं। कोर्ट ने सोमवार को विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में छात्रसंघ चुनाव को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की। इस दौरान कोर्ट ने राज्य सरकार और अन्य को दो दिन के भीतर चुनाव के मामले पर स्थिति स्पष्ट करने के निर्देश दिए हैं। जहाँ अब अगली सुनवाई 23 अक्तूबर होगी।
बता दे कि इस मामले पर न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा एवं न्यायमूर्ति विवेक भारती शर्मा की खंडपीठ के समक्ष सुनवाई हुई। वहीं देहरादून के एक सामाजिक कार्यकर्ता महिपाल सिंह ने समाचारपत्रों में 25 अक्तूबर को राजकीय विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में छात्रसंघ चुनाव कराए जाने की खबर को आधार बनाकर, हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की। और कहा कि राज्य सरकार ने 23 अप्रैल 2024 को एक शैक्षणिक कैलेंडर जारी किया था।
इस कलेंडर के अनुसार छात्रसंघ चुनाव 30 सितंबर 2024 तक कराने का निर्देश था। लेकिन, विश्वविद्यालय प्रशासन ने समय पर चुनाव नहीं कराए और ना ही शासन से दिशा-निर्देश प्राप्त किए। उन्होंने कहा कि ये लिंगदोह समिति की सिफारिशों का उल्लंघन है। साथ ही इस वजह से छात्रों की पढ़ाई में असर पड़ रहा है।