उत्तराखंड राज्य की स्थापना हुए 25 साल होने वाले हैं। इसके चलते राज्य में उत्तराखंड स्थापना दिवस की 25वीं सालगिराह सप्ताहभर मनाई जाएगी। इस दौरान कई कार्यक्रम का आयोजन होगा। बता दे कि इन कार्यक्रमों की शुरुआत छह नवंबर से होगी। इसके साथ ही प्रदेश में देवभूमि रजतोत्सव की भी शुरुआत भी की जाएगी, जो पूरे वर्ष मनाया जाएगा। इस संबंध में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने बुधवार को राज्य स्थापना के रजत जयंती समारोह की तैयारियों की समीक्षा बैठक की ।
इस दौरान मुख्य सचिव ने कहा कि सीएम धामी के विजन के अनुरूप ही इस वर्ष राज्य स्थापना दिवस का विशेषरूप से भव्य आयोजन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य स्थापना का रजत जयंती वर्ष होने के कारण इसका विशेष महत्व है। जिसकी शुरुआत, छह नवंबर से नई दिल्ली में उत्तराखंड सदन से होगी। इस दौरान दिल्ली में रहने वाले विभिन्न क्षेत्रों में कार्यरत उत्तराखंड मूल के अधिकारियों, कर्मचारियों व प्रवासियों की भागीदारी से कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा।
वहीं फिर इसके अगले दिन प्रवासी उत्तराखंड सम्मेलन का आयोजन होगा। जिसमें भव्य खेल एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम, महिला सशक्तीकरण की थीम पर विशेष उत्सव आयोजित होंगे। साथ ही इनमें जरूरतमंदों के लिए बहुउद्देशीय शिविरों का आयोजन होगा। जबकि मलिन बस्तियों में स्वास्थ्य परीक्षण शिविर लगेंगे। और दिव्यांगों के लिए विशेष कार्यक्रम का आयोजन होगा। इस दौरान विभिन्न सम्मान व पुरस्कार वितरण कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। इसके अलावा राज्य आंदोलकारियों व शहीदों की गौरव गाथा जैसे विभिन्न कार्यक्रम भी होने है।
वहीं, मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने 24 वर्षों में राज्य की उपलब्धियों एवं विकास की संभावनाओं पर स्कूल व कॉलेज स्तर पर कार्यक्रम आयोजित करने को कहा है, जहाँ इसमें युवाओं की भागीदारी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। साथ ही देवभूमि रजतोत्सव में प्रदेश के सभी वर्गों, विशेषरूप से महिलाओं, स्कूली बच्चों व युवाओं की सहभागिता सुनिश्चित करने को कहा गया है। इसके अलावा, मुख्य सचिव ने मंडल स्तर और जिला स्तर पर भी राज्य स्थापना दिवस को भव्यता के साथ मनाने और कार्यक्रम आयोजित किए जाने के लिए विशेष तैयारियों के निर्देश दिए है।