प्रदेश में अशासकीय विद्यालयों में कार्यरत पीटीए शिक्षक के संबंध में बड़ी खबर सामने आ रही है। बता दे कि अब ये शिक्षक तदर्थ नहीं होंगे। बताया जा रहा है कि शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने विधानसभा में विधायक विक्रम सिंह नेगी के एक बड़े प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी। बता दे कि विक्रम नेगी ने प्रश्न किया था कि इन विद्यालयों में 10 हजार रुपये नियत मानदेय पर पीटीए शिक्षकों की तैनाती की गई है। वहीं क्या अब यह योग्यता रखने वाले शिक्षकों को तदर्थ नियुक्ति दी जाएगी।
जिसके बाद शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने लिखित उत्तर में जवाब दिया कि उत्तराखंड विद्यालयी शिक्षा संशोधन अधिनियम 2016 में दी गई व्यवस्था के अनुसार, स्कूल प्रबंधन तंत्र ने 18 अक्तूबर 2011 तक निजी स्रोतों से सेवायोजित पीटीए शिक्षकों को तदर्थ नियुक्ति दी गई। जिनके लिए पद सृजित थे।
वहीं इस तिथि के बाद निजी स्रोतों से पीटीए शिक्षकों को तदर्थ नियुक्ति देने की कोई व्यवस्था नहीं है। वहीं हाईकोर्ट में दाखिल एक याचिका में भी पीटीए शिक्षकों की नियुक्ति को राज्य में शैक्षिक प्रणाली के लिए हानिकारक एवं अवैध बताया गया है। बता दे कि इस फैसले के खिलाफ राज्य सरकार ने तीन मार्च 2015 को उच्च न्यायालय में विशेष अपील भी दाखिल की थी ।